Guest guest Posted June 13, 2009 Report Share Posted June 13, 2009 Saturday , Jun 13, 2009à¤à¤•à¥à¤¤à¤¿ का अरà¥à¤¥ है परिपूरà¥à¤£ पà¥à¤°à¥‡à¤®à¥¤ यह उदà¥à¤¦à¥‡à¤¶à¥à¤¯ विहीन पà¥à¤°à¥‡à¤® है। किसी गà¥à¤ªà¥à¤¤ उदà¥à¤¦à¥‡à¤¶à¥à¤¯ पर आधारित पà¥à¤°à¥‡à¤® असली पà¥à¤°à¥‡à¤® नहीं हो सकता है। जिस पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° à¤à¤• नदी समà¥à¤¦à¥à¤° में à¤à¤• पà¥à¤°à¤¾à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿à¤• आवेग दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ शामिल होती है, जिस पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° à¤à¤• लता हवाओं के दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ सà¥à¤µà¤¾à¤à¤¾à¤µà¤¿à¤• रूप से पेड़ के चारों ऊपर चढ़ने का पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ करता है, उसी पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° à¤à¤•à¥à¤¤ का पà¥à¤¯à¤¾à¤° किसी à¤à¥€ पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° के सांसारिक इचà¥à¤›à¤¾à¤“ं से मà¥à¤•à¥à¤¤ à¤à¤—वान को à¤à¤¹à¤¸à¤¾à¤¸ करने की à¤à¤• सहज अà¤à¤¿à¤µà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ है। इससे पता चलता है कि इसके लिà¤(à¤à¤•à¥à¤¤à¤¿ के लिà¤) à¤à¤—वान के अलावा और किसी आवशà¥à¤¯à¤•à¤¤à¤¾ नहीं होती। यह अनà¥à¤¯ सà¤à¥€ वसà¥à¤¤à¥à¤“ं के लिठशूनà¥à¤¯à¤šà¤¿à¤¤à¥à¤¤ है। à¤à¤•à¥à¤¤à¤¿ ईशà¥à¤µà¤° से उसकी सरà¥à¤µà¤µà¥à¤¯à¤¾à¤ªà¤•à¤¤à¤¾ के साथ समà¥à¤¬à¤‚धित है। आपको इसका अहसास होना ही चाहिठकि ईशà¥à¤µà¤° सà¤à¥€ में मौजूद हैं। केवल जब आप ईशà¥à¤µà¤° के सरà¥à¤µà¤µà¥à¤¯à¤¾à¤ªà¤•à¤¤à¤¾ को पहचानेगे तà¤à¥€ आप उसका अनà¥à¤à¤µ करने में सकà¥à¤·à¤® होंगे। ~ बाबा साई सà¥à¤®à¥ƒà¤¤à¤¿ Quote Link to comment Share on other sites More sharing options...
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